प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल ही में भारतीय वायुसेना (IAF) के एयरबेस का दौरा किया, जहां उन्होंने अत्याधुनिक रक्षा उपकरणों और ऑपरेशनल क्षमताओं का निरीक्षण किया। पीएम मोदी ने कहा, “सभी साधनों का टेस्ट हो गया”, जिससे भारत की सैन्य तैयारियों और आत्मनिर्भरता को बल मिला है। यह दौरा भारत की रक्षा रणनीति में एक अहम संदेश के तौर पर देखा जा रहा है।
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल ही में भारतीय वायुसेना के एक अत्यंत महत्वपूर्ण एयरबेस का दौरा किया, जहां उन्होंने देश की रक्षा तैयारियों की गहराई से समीक्षा की। इस दौरान प्रधानमंत्री ने अत्याधुनिक हथियार प्रणालियों, फाइटर जेट्स, रडार सिस्टम, और युद्धाभ्यास का प्रत्यक्ष निरीक्षण किया। इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य भारत की वायुसेना की ऑपरेशनल क्षमताओं और तकनीकी आत्मनिर्भरता को प्रदर्शित करना था।
पीएम मोदी ने अपने संबोधन में स्पष्ट रूप से कहा, “सभी साधनों का टेस्ट हो गया है।” उनका यह बयान न केवल वायुसेना की पूरी तैयारी का संकेत है, बल्कि देश को यह आश्वासन भी देता है कि भारत हर चुनौती से निपटने में सक्षम है। उन्होंने जवानों की हौसला अफजाई करते हुए कहा कि “राष्ट्र की सुरक्षा आपके समर्पण और साहस से ही संभव हो पा रही है।”
दौरे के दौरान प्रधानमंत्री को अत्याधुनिक फाइटर जेट्स जैसे Rafale, Sukhoi Su-30MKI, और स्वदेशी Tejas की कार्यप्रणाली के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई। इसके अलावा, एयर डिफेंस सिस्टम, ड्रोन टेक्नोलॉजी, और AI आधारित युद्ध तकनीकों की लाइव डेमो भी पीएम मोदी ने देखी। इन प्रदर्शनों से यह सिद्ध होता है कि भारत तेज़ी से आत्मनिर्भर भारत के रक्षा क्षेत्र में मजबूत होता जा रहा है।
प्रधानमंत्री मोदी ने वायुसेना अधिकारियों और जवानों से भी सीधे संवाद किया। उन्होंने कहा कि भारत की सुरक्षा केवल भौगोलिक सीमाओं की रक्षा से नहीं, बल्कि उच्च तकनीकी, समय पर प्रतिक्रिया और साहसिक निर्णयों से सुनिश्चित होती है। इस बातचीत में देश की सामरिक रणनीति, उभरते खतरों और भविष्य की तैयारियों पर चर्चा की गई।
इस दौरे को भारत की डिफेंस डिप्लोमेसी और रणनीतिक स्पष्टता के दृष्टिकोण से बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है। यह संदेश स्पष्ट है कि भारत अब न केवल रक्षा उपकरणों का उपभोक्ता है, बल्कि वैश्विक स्तर पर एक डिफेंस प्रोड्यूसिंग पावर बनने की दिशा में बढ़ रहा है।
वायुसेना के इस हाई-प्रोफाइल विज़िट का व्यापक संदेश यह भी है कि भारत युद्ध की इच्छा नहीं रखता, लेकिन अगर जरूरत पड़ी तो हर परिस्थिति का सामना करने के लिए तैयार है। पीएम मोदी के इस दौरे के बाद यह उम्मीद की जा रही है कि रक्षा क्षेत्र में निजी और सरकारी भागीदारी और तेज़ होगी, जिससे मेक इन इंडिया और स्टार्टअप डिफेंस इनोवेशन को नई दिशा मिलेगी।
इस मौके पर रक्षा मंत्री, वायुसेना प्रमुख और अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद रहे। सभी ने प्रधानमंत्री को वायुसेना की वर्तमान स्थिति, भविष्य की योजनाओं, और हाल ही में जोड़े गए प्लेटफॉर्म्स के बारे में जानकारी दी।
इस दौरे के अंत में प्रधानमंत्री मोदी ने वायुसेना के परिश्रमी जवानों को नमन करते हुए कहा, “राष्ट्र आप पर गर्व करता है। आपका समर्पण देश की सुरक्षा की सबसे बड़ी ताकत है।”