भारत-कैरिकॉम शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री मोदी ने ग्लोबल साउथ की चिंताओं पर दुनिया का ध्यान खींचा। मोदी ने कहा कि भारत और कैरिकॉम देशों के बीच संबंध हमारे अतीत के साझा अनुभवों, वर्तमान आवश्यकताओं और भविष्य के लिए हमारी साझा आकांक्षाओं पर आधारित हैं। भारत इन संबंधों को नई ऊंचाइयों पर ले जाने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।
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नई दिल्ली। भारत-कैरिकॉम शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री मोदी ने ग्लोबल साउथ की चिंताओं पर दुनिया का ध्यान खींचा। मोदी ने कहा कि भारत और कैरिकॉम देशों के बीच संबंध हमारे अतीत के साझा अनुभवों, वर्तमान आवश्यकताओं और भविष्य के लिए हमारी साझा आकांक्षाओं पर आधारित हैं। भारत इन संबंधों को नई ऊंचाइयों पर ले जाने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।
हमने अपने सभी प्रयासों में ग्लोबल साउथ की चिंताओं और उसकी प्राथमिकताओं पर ध्यान केंद्रित किया है।पिछले वर्ष भारत की अध्यक्षता में आयोजित जी-20 शिखर सम्मेलन ग्लोबल साउथ की आवाज के रूप में उभरा। कल ब्राजील में भी मैंने वैश्विक समुदाय से ग्लोबल साउथ के देशों को प्राथमिकता देने का आह्वान किया। मुझे खुशी है कि भारत और हमारे सभी कैरिकॉम मित्र इस बात पर सहमत हैं कि वैश्विक संस्थाओं में सुधार आवश्यक हैं।
उन्हें आज की दुनिया और आज के समाज के हिसाब से खुद को ढालने की जरूरत है। यह समय की मांग है। इसे साकार करने के लिए कैरिकॉम के साथ घनिष्ठ सहयोग और कैरिकॉम का समर्थन बहुत महत्वपूर्ण है।
आज हमारी बैठक में लिए गए निर्णय हर क्षेत्र में हमारे सहयोग को नए आयाम देंगे। इनके क्रियान्वयन में भारत-कैरिकॉम संयुक्त आयोग और संयुक्त कार्य समूहों की महत्वपूर्ण भूमिका होगी। हमारे सकारात्मक सहयोग को आगे बढ़ाने के लिए मैं प्रस्ताव करता हूं कि तीसरा कैरिकॉम शिखर सम्मेलन भारत में आयोजित किया जाए।