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CDS जनरल अनिल चौहान और रक्षा मंत्री की सुरक्षा बैठक: भारत-पाक तनाव के बीच बड़ा फैसला

भारत-पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के मद्देनज़र CDS जनरल अनिल चौहान और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने उच्चस्तरीय सुरक्षा बैठक की। बैठक में सीमा पर स्थिति की समीक्षा की गई और आवश्यक सुरक्षा उपायों को लेकर रणनीतियाँ तय की गईं। सरकार ने देश की संप्रभुता की रक्षा के लिए हर जरूरी कदम उठाने का संकल्प लिया है।

By bishanpreet345@gmail.com 

Updated Date

भारत-पाक तनाव के बीच CDS जनरल चौहान और रक्षा मंत्री की अहम बैठक

भारत और पाकिस्तान के बीच हालिया बढ़ते तनाव ने देश की सुरक्षा एजेंसियों को सतर्क कर दिया है। इसी बीच, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल अनिल चौहान और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने एक महत्वपूर्ण बैठक कर सुरक्षा हालात की गहन समीक्षा की। बैठक में थल सेना, वायु सेना और नौसेना के वरिष्ठ अधिकारियों ने भी भाग लिया और सीमा पर तैनाती, इंटेलिजेंस रिपोर्ट्स और रणनीतिक जवाबी कदमों पर विस्तार से चर्चा की गई।

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इस बैठक का उद्देश्य न केवल वर्तमान स्थिति की समीक्षा करना था, बल्कि भविष्य में संभावित खतरों से निपटने के लिए सख्त और निर्णायक रणनीति बनाना भी था। सूत्रों के अनुसार, रक्षा मंत्री ने सभी सुरक्षा बलों को “किसी भी हालात के लिए पूरी तरह तैयार रहने” के निर्देश दिए।

राष्ट्रीय सुरक्षा सर्वोपरि: भारत का कड़ा संदेश

बैठक के बाद रक्षा मंत्रालय की ओर से जारी बयान में कहा गया कि भारत अपनी संप्रभुता और सीमाओं की रक्षा के लिए हर आवश्यक कदम उठाएगा। सरकार ने साफ किया कि अगर पाकिस्तान की ओर से कोई भी उकसावे की कार्रवाई होती है तो उसका मुंहतोड़ जवाब दिया जाएगा।

CDS जनरल अनिल चौहान ने सभी सेना प्रमुखों को सीमा पर सतर्कता बढ़ाने, गुप्तचर नेटवर्क मजबूत करने और तेज जवाबी कार्रवाई के लिए तैयारी रखने के आदेश दिए हैं।

पाकिस्तान की गतिविधियों पर पैनी नजर

बैठक में पाकिस्तान द्वारा सीमा पार से घुसपैठ की कोशिशों, आतंकी संगठनों की गतिविधियों और सीजफायर उल्लंघन की घटनाओं पर भी चर्चा हुई। भारत ने स्पष्ट कर दिया है कि किसी भी तरह की आतंकी गतिविधि या घुसपैठ को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

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सूत्रों ने बताया कि अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भी पाकिस्तान के खिलाफ मजबूत आवाज उठाने की रणनीति पर काम हो रहा है ताकि वैश्विक दबाव बनाया जा सके। साथ ही आंतरिक सुरक्षा को मजबूत करने के लिए भी नए कदम उठाने का फैसला किया गया है।

सेना को मिले हैं विशेष निर्देश

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सेनाओं को निर्देशित किया कि आवश्यकतानुसार सर्जिकल स्ट्राइक या प्राकृतिक जवाबी कार्रवाई जैसे विकल्प खुले रखें। साथ ही आम जनता को भी सतर्क रहने और अफवाहों से बचने की सलाह दी गई है।

इस बीच, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजीत डोभाल भी लगातार घटनाक्रम पर नजर बनाए हुए हैं और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को हर अपडेट से अवगत करा रहे हैं।

सरकार का सख्त रुख, जनता का भरोसा

सरकार के इस तेज और निर्णायक रुख से आम जनता में सुरक्षा को लेकर विश्वास बढ़ा है। सोशल मीडिया पर लोग सरकार के सख्त कदमों का समर्थन कर रहे हैं और एकजुटता का संदेश दे रहे हैं।

भारत ने एक बार फिर स्पष्ट कर दिया है कि देश की सुरक्षा से समझौता किसी भी कीमत पर स्वीकार्य नहीं है, और जरूरत पड़ने पर कठोरतम कार्रवाई से भी पीछे नहीं हटेगा।

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