पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने वक्फ से जुड़े इमामों के साथ बैठक में बड़ा दावा करते हुए कहा कि हालिया सांप्रदायिक हिंसा एक 'पूर्व नियोजित साजिश' थी। ममता का बयान बंगाल की राजनीति में नई हलचल पैदा कर रहा है, जहां भाजपा और तृणमूल कांग्रेस आमने-सामने हैं।
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कोलकाता – पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने हाल ही में एक वक्फ इवेंट के दौरान इमामों के साथ विशेष बैठक में बड़ा राजनीतिक बयान दिया है। उन्होंने दावा किया कि राज्य में हाल में हुई सांप्रदायिक हिंसा कोई आकस्मिक घटना नहीं थी, बल्कि यह पूरी तरह से पूर्व नियोजित और सुनियोजित साजिश का हिस्सा थी।
कोलकाता में आयोजित एक वक्फ इवेंट में बोलते हुए ममता बनर्जी ने कहा:
“हिंसा को एक विशेष समय पर भड़काने के लिए योजनाबद्ध तरीके से कुछ बाहरी तत्वों को भेजा गया था। यह सिर्फ मुस्लिम समुदाय को बदनाम करने की साजिश थी।”
उन्होंने कहा कि उनका प्रशासन सभी तथ्यों की जांच कर रहा है और जल्द ही सच्चाई सबके सामने लाई जाएगी।
सीएम ममता ने धर्म आधारित राजनीति पर कटाक्ष करते हुए कहा कि कुछ पार्टियां सिर्फ ध्रुवीकरण और नफरत की राजनीति कर रही हैं। उन्होंने कहा कि बंगाल की संस्कृति गंगा-जमुनी तहज़ीब की प्रतीक है, और वे इसे किसी भी कीमत पर नष्ट नहीं होने देंगी।
“हम किसी भी धर्म या जाति के खिलाफ नहीं हैं, लेकिन जो लोग धर्म के नाम पर हिंसा फैलाते हैं, उन्हें बख्शा नहीं जाएगा।”
ममता बनर्जी के इस बयान के बाद भाजपा नेताओं ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। बंगाल भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि,
“ममता बनर्जी जानती हैं कि अल्पसंख्यकों के वोट बैंक को साधने के लिए ये बयान जरूरी है। लेकिन सच्चाई यह है कि राज्य सरकार कानून व्यवस्था बनाए रखने में विफल रही है।”
भाजपा प्रवक्ताओं ने इसे “राजनीतिक स्टंट” करार देते हुए कहा कि जनता अब इन बयानों से गुमराह नहीं होगी।
बैठक में ममता बनर्जी ने राज्य के इमामों और मौलवियों से अपील की कि वे समाज में शांति और भाईचारे का संदेश फैलाएं। उन्होंने कहा कि कुछ असामाजिक तत्वों को इन धार्मिक नेताओं की सलाह और मार्गदर्शन से ही रोका जा सकता है।
“आप सब समाज के नेता हैं। अगर आप चाहें तो बंगाल में कोई हिंसा नहीं होगी।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने उन इलाकों में अतिरिक्त सुरक्षा बलों की तैनाती की है जहां हिंसा हुई थी या होने की आशंका जताई गई थी। साथ ही कहा गया है कि सोशल मीडिया पर फैलाई जा रही अफवाहों की मॉनिटरिंग के लिए साइबर सेल को सक्रिय किया गया है।
ममता बनर्जी का यह बयान सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है। ट्विटर और फेसबुक पर #MamataOnViolence, #WaqfMeet, #BengalPolitics, और #CommunalHarmony जैसे हैशटैग ट्रेंड कर रहे हैं।
लोगों की राय बंटी हुई है — कुछ ने ममता के बयान का समर्थन किया, तो कुछ ने इसे ‘वोट बैंक की राजनीति’ बताया।