राजस्थान के रणथंभौर टाइगर रिजर्व से एक चौंकाने वाला वीडियो सामने आया है जिसमें कुछ लोग एक बाघ के बेहद पास चलते नजर आ रहे हैं। यह वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है और लोगों की जान को खतरे में डालने वाले इस व्यवहार पर गहरी चिंता जताई जा रही है। वन विभाग ने मामले की जांच शुरू कर दी है।
Updated Date
रणथंभौर टाइगर रिजर्व एक बार फिर सुर्खियों में है। इस बार वजह है एक वायरल वीडियो जिसमें कुछ लोग खुलेआम एक बाघ के सामने सड़क पर चलते नजर आ रहे हैं। यह वीडियो सोशल मीडिया पर जंगल की आग की तरह फैल गया है और लोगों की प्रतिक्रियाएं भी तेजी से आ रही हैं। जहां एक ओर यह दृश्य रोमांचक लग सकता है, वहीं दूसरी ओर यह गंभीर सुरक्षा चूक और वन्यजीवों के संरक्षण नियमों की अनदेखी को दर्शाता है।
वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि एक टाइगर आराम से सड़क पार कर रहा है और कुछ लोग बेहद लापरवाही से उसके सामने पैदल चल रहे हैं। यह घटना न सिर्फ उनकी जान को खतरे में डालती है बल्कि बाघ जैसे खतरनाक जानवर के व्यवहार को भी प्रभावित कर सकती है। रणथंभौर जैसा संरक्षित क्षेत्र, जहां बाघों की संख्या को बढ़ावा देने के लिए विशेष प्रयास किए जा रहे हैं, ऐसे असंवेदनशील व्यवहार से वन्यजीव संरक्षण के लक्ष्यों को नुकसान पहुंच सकता है।
वन विभाग ने इस वायरल वीडियो को संज्ञान में लेते हुए जांच के आदेश दे दिए हैं। अधिकारियों का कहना है कि यह स्पष्ट रूप से एक सुरक्षा उल्लंघन है और संबंधित लोगों के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी। रणथंभौर के नियमों के अनुसार, किसी भी पर्यटक को वाहन से बाहर निकलने की अनुमति नहीं होती है, खासकर तब जब आसपास वन्यजीव मौजूद हों।
यह घटना कई सवाल खड़े करती है: क्या पर्यटकों को वन्यजीवों की सुरक्षा और अपने स्वयं के जीवन के प्रति इतनी लापरवाही की छूट मिलनी चाहिए? क्या गाइड और टूर ऑपरेटर इस नियम की अवहेलना कर रहे हैं? अगर नहीं, तो फिर ये लोग कैसे सड़क पर बाघ के इतने पास पहुंच गए?
रणथंभौर न सिर्फ भारत, बल्कि पूरी दुनिया में बाघों के लिए एक सुरक्षित स्थान माना जाता है। यहां हर साल लाखों पर्यटक देश-विदेश से बाघों को देखने आते हैं। लेकिन अगर इस तरह की घटनाएं होती रहीं तो यह न सिर्फ बाघों के लिए खतरनाक हो सकता है, बल्कि पर्यटकों के लिए भी घातक साबित हो सकता है। बाघ, जितना खूबसूरत होता है, उतना ही खतरनाक भी। किसी भी पल उसका व्यवहार बदल सकता है और जान का जोखिम बढ़ सकता है।
वन्यजीव विशेषज्ञों का कहना है कि जानवरों के प्राकृतिक व्यवहार में किसी भी प्रकार की मानवीय हस्तक्षेप उन्हें आक्रामक बना सकता है। ऐसे में न सिर्फ बाघों का जीवन प्रभावित होता है, बल्कि पूरे पारिस्थितिक तंत्र पर असर पड़ता है।
सुरक्षा नियमों की अवहेलना पर सख्त कार्रवाई की आवश्यकता है। रणथंभौर टाइगर रिजर्व प्रशासन को अब यह सुनिश्चित करना चाहिए कि सभी टूर गाइड, जीप चालक और पर्यटक नियमों का पूरी तरह पालन करें। इसके साथ ही, जनता के बीच भी जागरूकता फैलाने की जरूरत है कि वन्यजीवों के साथ इस तरह की नजदीकी न सिर्फ खतरनाक है बल्कि गैरकानूनी भी है।
यह घटना एक चेतावनी है — हमें वन्यजीव पर्यटन को रोमांचक बनाने के चक्कर में उसकी गरिमा और सुरक्षा को नहीं भूलना चाहिए। प्रकृति का आनंद तभी लिया जा सकता है जब हम उसके नियमों का सम्मान करें।